जिस घर में रामचरित मानस का पठन-पाठन होता है वह घर स्वर्ग के समान है, श्री राम कथा यज्ञ की पूर्णाहुति के साथ सम्पन्न।
सादलपुर नगर के संकटमोचन हनुमान मंदिर भक्त मंडल के तत्वावधान में सात दिवसीय संगीत मय श्री राम कथा भागवताचार्य पंडित ओमप्रकाश जी शर्मा मानपुर वालों के पावन सानिध्य में चल रही थी। मानस की महिमा पर प्रकाश डालते हुए बताया कि हमें सत्य, अहिंसा, आज्ञा पालन,धर्म के मार्ग पर चलना आदि संस्कार सहज रूप में कहीं मिल सकते हैं तो वह सद ग्रंथ महाकवि वाल्मीकि तुलसीदास जी महाराज द्वारा रचित श्रीरामचरित मानस है।
जिस घर परिवार में मानस का पठन-पाठन होता है उसके अनुसार चलते हैं तो वहां परमात्मा का निवास होता है वह घर स्वर्ग के समान होता है।सातो दिन कथा में प्रसंगानुसार भजनों की प्रस्तुतियों से भक्ति रस का रसास्वादन करते श्रृद्धालुओं ने खूब आनंद लिया। कथा के । कथा के समापन पर यज्ञाचार्य पंडित हरिओम व्यास ने यज्ञ की आहूतियां दिलवाई यजमान आनंदीलाल कुशवाह,नवनीत जाट सहित उपस्थित रामभरोसे वर्मा, सुभाष जाट, रामरतन जाट,रतनलाल चौहान, पुनमचंद जाधव, सज्जन सिंह चौहान आदि श्रृद्धालुओं ने आहूतियां दी।
तथा भेरूसिंह मालवीय, श्रीराम मोर्य,सहित बड़ी संख्या में श्रृद्धालुओं एवं मातृशक्ति की गरिमा मय उपस्थिति रही।समापन समारोह आयोजित कर कथा वाचक पं शर्मा को सफा बांधकर वस्त्र तथा भेंट देकर सम्मानित किया गया।पं व्यास, मंदिर के पुजारी किशोर जाट, संगीत कार उद्देश्य गीरी, धर्मेन्द्र बारोट को पारितोषिक भेंट कर सम्मानित किया गया। आरती उतारी गई महाप्रसाद वितरण किया गया।पौथी की बिदाई ढोल ढमांके शोभायात्रा के साथ की गई।
इस अवसर पर इन्द्रदेवता के आगमन से सबके चेहरे खिल उठे जमकर गर्जना करते हुए सीजन की जोरदार वर्षा हुई। समापन समारोह का संचालन रामभरोसे वर्मा ने किया आभार सुभाष जाट ने माना।
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